chandra grahan 2025 ग्रहण ग्रहों की चाल पर निर्भर होती है जब वैज्ञानिक युग नही था तब लोग गणित की गणना से इसकी गिनती करके पता लगते थे आज आधुनिक युग में इसकी जानकरी आसानी से लोगों को मिल जाती है | 2025 में चन्द्र ग्रहण कब लगेगा इसकी जानकरी इस लेख में दी जाएगी |
चंद्र ग्रहण क्या है?
चंद्र ग्रहण तब लगता है जब पृथ्वी सूर्य और चंद्रमा के बीच आ जाती है। इस स्थिति में सूर्य की किरणें सीधे चंद्रमा तक नहीं पहुँच पातीं और पृथ्वी की छाया चंद्रमा पर पड़ जाती है। इससे चंद्रमा अंधकारमय या लाल रंग का दिखाई देता है। इसी घटना को चंद्र ग्रहण कहा जाता है।
चंद्र ग्रहण सिर्फ पूर्णिमा की रात को ही लग सकता है, क्योंकि तभी सूर्य, पृथ्वी और चंद्रमा एक सीध में आते हैं।
7 सितंबर 2025 का चंद्र ग्रहण
chandra grahan 2025 भारत और पूरी दुनिया में 7–8 सितंबर 2025 की रात को एक बड़ा चंद्र ग्रहण दिखाई देगा। यह पूर्ण चंद्र ग्रहण होगा, जिसे आम भाषा में ब्लड मून भी कहा जाता है क्योंकि इस दौरान चंद्रमा का रंग गहरा लाल दिखाई देगा।
भारत में समय (IST)
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ग्रहण की शुरुआत: शाम 8:58 बजे
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पूर्ण ग्रहण (Totality) की शुरुआत: रात 11:00 बजे
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पूर्ण ग्रहण समाप्ति: रात 12:22 बजे (8 सितंबर)
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ग्रहण का अंत: रात 2:25 बजे
इस बार ग्रहण की कुल अवधि लगभग 5 घंटे 27 मिनट रहेगी, जबकि पूर्णता (ब्लड मून) करीब 82 मिनट तक दिखाई देगी।
कितने वर्षों बाद लग रहा है चंद्र ग्रहण?
chandra grahan 2025 भारत में अंतिम बार पूर्ण चंद्र ग्रहण 8 नवंबर 2022 को देखा गया था। उसके बाद 2023 और 2024 में भारत में कोई पूर्ण चंद्र ग्रहण नहीं दिखा।
इस तरह, लगभग 3 साल बाद भारत में यह अद्भुत खगोलीय घटना फिर से देखने को मिलेगी।
धार्मिक और ज्योतिषीय महत्व
भारतीय संस्कृति में चंद्र ग्रहण का विशेष महत्व माना जाता है। ग्रहण के दौरान सूतक काल लगता है, जिसमें धार्मिक कार्य, पूजा-पाठ और भोजन से परहेज किया जाता है।
क्या करें (Do’s)
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ग्रहण से पहले और बाद में स्नान करें।
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भगवान का स्मरण और मंत्र जाप करें।
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घर में तुलसी या गंगा जल का छिड़काव करें।
- chandra grahan 2025 सावधान रहे खुली आखो से ना देखे ग्रहण को
क्या न करें (Don’ts)
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ग्रहण के दौरान भोजन और पानी का सेवन न करें।
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गर्भवती महिलाओं को विशेष सावधानी बरतनी चाहिए।
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नए कार्यों की शुरुआत से बचना चाहिए।
वैज्ञानिक दृष्टिकोण
chandra grahan 2025 वैज्ञानिक नजरिए से चंद्र ग्रहण एक प्राकृतिक घटना है। यह इंसानों या धरती पर किसी तरह का नकारात्मक प्रभाव नहीं डालता। ग्रहण के दौरान आकाश की सुंदरता को नंगी आंखों से सुरक्षित तरीके से देखा जा सकता है। खासतौर पर खगोल विज्ञान के विद्यार्थियों और शोधकर्ताओं के लिए यह एक अनोखा अवसर होता है।
7–8 सितंबर 2025 की रात को लगने वाला पूर्ण चंद्र ग्रहण भारत समेत पूरी दुनिया में दिखाई देगा। यह ग्रहण लंबे समय तक यादगार रहेगा क्योंकि तीन साल बाद भारतवासी फिर से ब्लड मून का नजारा देख पाएंगे।
चाहे आप इसे धार्मिक दृष्टि से देखें या वैज्ञानिक नजरिए से, यह घटना एक अद्भुत खगोलीय दृश्य है जिसे हर कोई देखना चाहेगा